इस लेख में जानेंगे कि दमा रोग क्या है और दमा रोग का घरेलू उपाय (Asthma treatment at home in Hindi)। दमा रोग का घरेलू नुस्खे जानने के लिए इस आर्टिकल को पूरा पढें।
पर्यायवाची– श्वास रोग, सांस की बीमारी, तमक श्वास, आवेगी दुःश्वसन, (Paroxysmal dyspnea) अस्थमा, ब्रोन्कियल एस्थमा।
दमा रोग क्या है?
इस रोग से पीड़ित रोगी को अचानक दौरे के रूप में कष्ट श्वास (Dyspnea) सीटी की आवाज (Wheezing) के साथ होता है। ये लक्षण ब्रोंकियल रास्ते (Bronchial Airways) में सिकुड़न आने से होता है जो कि श्वास नली की मांसपेशियों के संकुचन व श्लेष्मा झिल्ली की सूजन अथवा बलगम के एकत्र होने से उत्पन्न होते हैं। इससे रोगी का सांस फूलने लगता है। दमें का दौरा प्राय: रात में शुरुहोता है परन्तु कभी-कभी दौरा दिन में भी हो जाता है।
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दमा रोग के लिए घरेलू नुस्खे
• अदरक स्वरस और शहद 6-6 माशा मिलाकर सेवन करने से श्वास, खाँसी और कफ का नाश होता है। श्वास के दौरे के समय यह प्रयोग अत्यन्त हितकर है।
• मसाला रहित पुराना गुड़ और असली सरसों का तेल 1-1 तोला लेकर खूब मथकर (मिलाकर) रोगी को निरन्तर 21 या 60 दिन सेवन कराने से श्वास/दमा रोग जड़मूल से दूर हो जाता है।
• शुद्ध (आग पर भुनी हुई) फिटकरी और मिश्री 2-2 तोला लेकर पीसकर भलीप्रकार मिलाकर 1-2 माशा की मात्रा में प्रतिदिन प्राय: समय सेवन करने से श्वास रोग दूर हो जाता है।
• काली मिर्च और हल्दी समान मात्रा में लेकर पीस छानकर सुरक्षित रख लें। इसको 3 माशा की मात्रा में लेकर शहद में मिला कर चाटने से समस्त प्रकार के श्वास रोग तथा पेट का भयंकर अफारा में आराम मिलता है।
• तुलसी के पत्तों का स्वरस और गाय का घी 4-4 माशा तथा पिसी हुई काली मिर्च 1 माशा इनको मिलाकर प्रतिदिन सेवन करने से वात-कफ के विकार श्वास आदि में आराम हो जाता हैं।
• थोड़ा सा काला नमक पीस कर सुरक्षित रख लें। प्रथम दिन 2 माशा नमक रात को सोते समय फांक लें। दूसरे दिन 2½ माशा, तीसरे दिन 3 माशा (इस प्रकार प्रत्येक दिन ½ माशा नमक की मात्रा बढ़ाकर) रोगी के रात को सोते समय नमक खिलायें।
जब नमक मात्रा 6 माशा पर पहुंच जाये तब प्रत्येक दिन 6 माशा नमक खिलायें। यदि रोगी को प्यास अधिक लगे तो गर्म पानी पिलायें। इस प्रयोग से मात्र एक महीना में श्वास रोग जड़ से नष्ट हो जाता है।
• हरड़ और बहेड़ा के छिलके समान मात्रा में लेकर कूटपीस कर तथा कपड़ छानकर दिन में 2 बार (सुबह-शाम) 1-1 माशा की मात्रा में सेवन करने से श्वास रोग नष्ट हो जाता है।
• एक तोला ईसबगोल निरन्तर 4 महीना तक दिन में 2 बार (सुबह-शाम) फांकने से समस्त प्रकार का असाध्य श्वास/दमा जड़ से नष्ट हो जाता है।
• आम की गुठली की गिरी खाने से श्वास रोग दूर हो जाता है।
• जावित्री को पान में रखकर खाने से श्वास रोग/दमा ठीक हो जाता है।
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अस्वीकरण: सलाह सहित यह सामग्री केवल सामान्य जानकारी प्रदान करती है। अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श करें। नेचुरल वे क्योर इस जानकारी के लिए ज़िम्मेदारी का दावा नहीं करता है।
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